कंपनियों में धोखाधड़ी और वित्तीय अनियमितताओं को रोकने के लिए सरकार ने नेशनल फाइनेंशियल रिपोर्टिग अथॉरिटी (एनएफआर) की घोषणा के महज एक महीने के भीतर उसके अध्यक्ष व सदस्यों की नियुक्ति के मानक व पात्रताएं जारी कर दी हैं। कॉरपोरेट मामलों के मंत्रालय द्वारा शुक्रवार को जारी अधिसूचना के मुताबिक अथॉरिटी के अध्यक्ष व पूर्णकालिक सदस्य अपने कार्यकाल के दौरान या उसके दो वर्ष बीत जाने तक किसी भी अकाउंटिंग संस्था या कंपनी से नहीं जुड़ेंगे।
मंत्रालय ने कहा है कि अध्यक्ष, पूर्णकालिक और अंशकालिक सदस्यों का कार्यकाल तीन वर्षो का होगा। इनमें अध्यक्ष और पूर्णकालिक सदस्य एक कार्यकाल के बाद अधिकतम एक और कार्यकाल या 65 वर्ष की उम्र में जो भी पहले हो, तक के लिए चुने जा सकेंगे। अथॉरिटी के अंशकालिक सदस्य भी अधिकतम दो कार्यकाल के लिए ही चुने जाएंगे।
एनएफआरए में अध्यक्ष और तीन पूर्णकालिक सदस्यों के अलावा नौ अंशकालिक सदस्य होंगे। इनमें इंस्टीट्यूट ऑफ चार्टर्ड अकाउंटेंट्स ऑफ इंडिया (आइसीएआइ) के प्रेसीडेंट भी अंशकालिक सदस्यों में एक होंगे। कार्यकाल के दौरान अध्यक्ष या किसी पूर्णकालिक सदस्य का पद खाली होने पर सरकार वरिष्ठतम पूर्णकालिक सदस्य को अध्यक्ष बना सकती है। अथॉरिटी के अध्यक्ष को मासिक 2.5 लाख रुपये वेतन और सदस्यों को 2.25 लाख रुपये वेतन के अलावा अन्य भत्ते व सुविधाएं मिलेंगी। कैबिनेट सचिव की अध्यक्षता वाली एक चयन समिति अथॉरिटी के अध्यक्ष के नाम की अनुशंसा सरकार को करेगी।