हवलदार को धक्का मारकर फरार होने वाले कैदी की तलाश में छापेमारी

ख़बरें अभी तक: पीजीआई की नई ओपीडी के सामने हवलदार सुभाष को धक्का देकर भागने वाले कैदी कुख्यात मंजीत की तलाश में रोहतक और जींद पुलिस ने कई जगहों पर छापेमारी की। मगर आरोपी का कोई सुराग नहीं लगा। पुलिस ने आरोपी के परिजनों से मामले में पूछताछ की है। साथ ही उसके ठिकानों पर भी नजर रखी जा रही है।

बता दें कि जींद के शादीपुर निवासी कुख्यात मंजीत हत्या के एक मामले में जींद जेल में सजायाफ्ता है। मंजीत के सिर में लगातार दर्द होने के कारण उसका पीजीआई रोहतक में उपचार चल रहा है। लगातार पीजीआई लाने ले जाने के कारण सोमवार को मंजीत का जींद जेल से सुनारिया जेल में ट्रांसफर किया गया था। पुलिस लाइन से सुबह करीब सात बजे एस्कॉर्ट इंचार्ज एएसआई चंद्र सिंह के नेतृत्व में हेड कांस्टेबल जितेंद्र, अनिल, गुरमीत, सुभाष और सिपाही सतीश कुमार की टीम कैदी मंजीत और कंसाला निवासी विकास उर्फ विक्की को लेकर रोहतक सुनारिया जेल आई थी। मंजीत को सुनारिया जेल में छोड़ना था जबकि विकास को फरारी के एक मामले में बहादुरगढ़ कोर्ट में पेश करना था। गारद इंचार्ज ने हेड कांस्टेबल सुभाष के नेतृत्व में कैदी मंजीत को सुनारिया जेल की ड्योड़ी में छोड़ दिया। इसके बाद वह विकास को लेकर बहादुरगढ़ के लिए रवाना हो गये। सुनारिया जेल प्रशासन ने मंजीत की फाइल की जांच पड़ताल की। इसमें सामने आया कि मंजीत का पीजीआई से सिर के दर्द का उपचार चल रहा है। मंजीत को सोमवार को ओपीडी में दिखाना था। इस पर हेड कांस्टेबल सुभाष अकेला ही कुख्यात मंजीत को लेकर पीजीआई के लिए चल गया। जैसे ही दोनों ऑटो से उतरकर ओपीडी की तरफ चले तो कैदी मंजीत हाथ छुड़ाकर सड़क की तरफ भाग गया था