रूस से पीएम मोदी को लिखा खत और छत्तीसगढ़ में सुलझ गई छात्र की समस्या

खबरें अभी तक। रूस में मेडिकल की पढ़ाई कर रहा मध्यप्रदेश का एक छात्र अंकसूची में सुधार के लिए साल भर से परेशान था। इसी काम से एक बार वह रायपुर आया और अधिकारियों से मिला भी लेकिन आश्वासन के सिवा कुछ नहीं मिला।

जब अंकसूची के बिना मेडिकल की डिग्री के अटकने की नौबत आ गई तो उसने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मदद की गुहार लगाई। पीएमओ ने मामले को संज्ञान में लिया और छत्तीसगढ़ मंत्रालय को यह मामला भेजा। मोदी को लिखे खत से छात्र की समस्या तुरंत सुलझ गई।

मध्यप्रदेश के सिंगरौली का छात्र प्रज्ञावतार साहू वर्तमान में क्रामिया स्टेट मेडिकल यूनिवर्सिटी, सिमफरोपोल रूस में एमबीबीएस की पढ़ाई कर रहा है। उसने छत्तीसगढ़ माध्यमिक शिक्षा मंडल रायपुर से 12 वीं की परीक्षा पास की है। प्रज्ञावतार साहू की 12 वीं की अंकसूची में उसके नाम की स्पेलिंग गलत लिखी गई थी जिसे वह सुधरवाना चाहता था।

 उसने प्रधानमंत्री को लिखा- यह मेरे ग्रेजुएशन का अंतिम वर्ष है। ग्रेजुएशन की डिग्री के लिए मुझे 12 वीं की अंकसूची की जरूरत है। मैंने 10 वीं और 12 वीं मार्कशीट, माइग्रेशन सर्टिफिकेट और दूसरे दस्तावेज जमा किए थे। 12 वीं की अंकसूची में मेरे नाम की स्पेलिंग पासपोर्ट में अंकित मेरे नाम की स्पेलिंग से अलग है जिससे समस्या आ रही है। इस सिलसिले में मैं अगस्त 2017 में भारत आया और रायपुर जाकर माध्यमिक शिक्षा मंडल के अफसरों से मिला।मुझे भरोसा दिया गया था कि एक महीने में मेरा काम हो जाएगा और मेरे पते पर नई अंकसूची और दूसरे सभी दस्तावेज भेज दिए जाएंगे, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की गई। मैं बड़ी समस्या में हूं। बिना मार्कशीट के मुझे डिग्री नहीं मिलेगी। कृपया मेरी समस्या सुलझाएं। मोदी को लिखा यह खत पीएमओ से छत्तीसगढ़ शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव को भेजा गया। इसके बाद आनन फानन में अधिकारियों ने प्रज्ञावतार की समस्या सुलझाई।