कैप्‍टन अमरिंदर ने कनाडा के पीएम को नौ खालिस्‍तानी समर्थकों की सूची सौंपी

खबरें अभी तक। कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रुडो और पंजाब के मुख्‍यमंत्री कैप्‍टन अमरिंदर सिंह ने यहां वार्ता की। इस बैठक में दोनों नेताओं ने कनाडा और पंजाब के हितों पर बातचीत की। जस्टिन ट्रुडो ने कहा कि कनाडा की जमीन से अलगाववादी गतिविधियों को समर्थन नहीं दिया जाएगा अैर इसे चलने नहीं दिया जाएगा। कनाडा सरकार भारत या भारत से बाहर इस तरह की गतिविधियों को उनकी सरकार बिल्‍कुल समर्थन नहीं देगी कैप्‍टन ने बैठक में कनाडा में सक्रिय नौ भारत विरोधी खालिस्‍तान समर्थकों की सूची भी दी। ट्रूडो ने इस पर कार्रवाई का भरोसा दिलाया।

कैप्‍टन अमरिंदर ने कनाडा के पीएम को नौ खालिस्‍तानी समर्थकों की सूची सौंपी

बैठक में खास बात यह रही कि कैप्‍टन अमरिंदर सिंह कनाडा के रक्षामंत्री हरजीत सिंह सज्‍जन से मिले। पिछली बार सज्‍जन सिंह पंजाब के दौरे पर आए थे तो कैप्‍टन अमरिंदर ने उनकेस मिलने से इन्‍कार कर दिया था। कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने पंजाब के सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह और कनाडा के रक्षा मंत्री हरजीत सिंह सज्‍जन के बीच चले आ रहे खिंचाव को दोनों नेताओं के हाथ मिलवाकर खत्म कर दिया।

कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रुडो बुधवार को गुरुनगरी के दौरे पर आए थे। उन्‍होंने श्री दरबार साहिब मे दर्शन किया और अमृतसर के अन्‍य ऐतिहासिेक स्‍थलाें का दौरा किया। दाेपहर बाद कनाडा के पीएम और पंजाब के मुख्‍यमंत्री कैप्‍टन अमरिंदर सिंह के बीच होटल स्वर्ण ताज में वार्ता हुई। होटल में पहुंचने पर कैप्‍टन अमरिंदर ने जस्टिन ट्रुडो का गर्मजोशी से स्‍वागत किया।

‘मैन आफ पीस’ बने ट्रूडो ने कहा कि उन्होंने अपने जीवनकाल में ऐसी चुनौतियों का डटकर मुकाबला कर इन्हें खत्म किया है। क्यूबैक में पृथक विचाराधारा की लहर का हवाला देते हुए ट्रूडो ने कहा कि वह हिंसा के संभावित खतरे से अवगत हैं और पूरी शक्ति से इन शक्तियों को किनारे लगा देंगे। उन्होंने कैप्टन द्वारा कनाडा में बैठे खालिस्तान समर्थकों के संदर्भ में की गई चर्चा के बाद यह बात कही।

पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर ने जस्टिन ट्रुडो को इस अवसर पर सम्‍मानित किया और पंजाब का दौरा करने के लिए उनका आभार जताया। दाेनों नेताअों ने पंजाब अौर कनाडा के आपसी हितों पर बात की। कैप्‍टन अमरिंदर ने कनाडा में भारत और पंजाब विरोधी गतिविधियां का मुद्दा उठाया। उन्‍होंने खालिस्‍तानी संगठनाें की गतिविधियों का मामला उठाते हुए इन पर कार्रवाई की मांग की।

इस पर जस्टिन ट्रुडो ने कहा कि कनाडा की धरती पर एेसी गतिविधियों की अनुमति किसी भी सूरत में नहीं  दी जाएगी। उन्‍होंने कहा कि कनाडा अपने यहां भारत विरोधी गतिविधियों को कतई समर्थन नहीं देगा। इस बारे में उनकी सरकार सभी संभव कदम उठाएगी।

कैप्टन अमरिंदर सिंह ने बैठक के दौरान ए कैटेगरी के नौ ऐसे समूहों और उनके सदस्‍यों की सूची सौंपी जाे कनाडा से भारत और पंजाब विरोधी गतिविधियां चला रहे हैं। कैप्‍टन ने कहा कि ये समूह कनाडा और भारत में घृणा और आतंक का माहौल तैयार करने मेु जुटे हुए हैं। इसे किसी हालत में स्‍वीकार नहीं किया जा सकता है। यह उन लोगों की सूची है जो पंजाब में घृणा अपराध के लिए वित्त या हथियार आपूर्ति के लिए जिम्मेवार है।

जस्टिन ट्रुडो ने क्युबैक में अलगाववाद की मूवमेंट पर की चर्चा करते हुए कहा कि उन्होंने अपनी पूरी जिंदगी इस तरह के खतरे को सख्ती से निपटा है। इस मामले में भी वह सख्‍ती से कदम उठाएंगे। दोनों नेताओं की बैठक में पंजाब और कनाडा के संबंधों व व्‍यावसायिक हितों पर खुलकर बातचीत हुई। दोनों नेताओं की बैठक 20 मिनट तक होनी थी लेकिन खुले माहौल में यह 40 मिनट तक चली।

कैप्टन ने ट्रूडो से कहा कि कनाडा में बैठे कुछ तत्वों, अलगाववादी विचारधारा व नफरती अपराध के खिलाफ लडऩे के लिए सहयोग की जरूरत है। ऐसे लोगों की कनाडा में आबादी बहुत कम है, जिनके खिलाफ कार्रवाई करना समय की मांग है।

काबिले गौर है कि कैप्टन द्वारा हरजीत सिंह सहित कनाडा के मंत्रियों की आलोचना ये कहते हुए की जाती रही है कि वह खालिस्तानी समर्थकों का सहयोग करते हैैं। लेकिन ट्रूडो की पंजाब यात्रा ने पंजाब और कनाडा में बसने वाले पंजाबियों को बड़ी राहत प्रदान की है। दरअसल, पिछले साल जब हरजीत सिंह सज्‍जन पंजाब आए थे तो कैप्टन अमरिंदर सिंह ने उन्हें मिलने से मना कर दिया था।

इसका एक कारण यह भी था कि विस चुनाव से पहले जब कैप्टन कनाडा गए थे तो वहां कट्टरपंथियों ने कैप्टन का विरोध किया था। कैप्टन ने कहा कि भारतीय संविधान में सभी को बोलने की आजादी है, पर हिंसा का प्रचार करने वाले कट्टरपंथी व अलगाववादी लोगों ने यह अधिकार खो दिया है। बैठक में कनाडा के रक्षामंत्री हरजीत सज्‍जन व पंजाब के निकाय मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू भी शामिल हुए।

कारोबारी निवेश के लिए उठाएं ठोस कदम

कैप्टन ने ट्रूडो से कारोबारी निवेश के लिए ठोस कदम उठाने की मांग की। उच्च शिक्षा, वैज्ञानिक खोज व टेक्नोलॉजी, नवीनता व स्टार्ट अप की बात करते हुए कहा कि पंजाबी कनाडा की उन्नति में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। कैप्टन ने ससकैचवैन यूनिवर्सिटी के साथ किए समझौते पर अमल न होने पर भी अफसोस जाहिर किया।

ट्रूडो फैमिली का किया सम्मान

कैप्टन ने जस्टिन ट्रूडो को अपनी किताब ‘आनर एंड फिडेलिटी वल्र्ड वार वन’ और प्रसिद्ध लेखक खुशवंत सिंह की किताब ‘हिस्टरी आफ सिख’ भेंट की। उनकी पत्नी सोफी गरोगोइर ट्रूडो को पंजाब की प्रसिद्ध परंपरागत फुलकारी व शाल और उनके तीनों बच्चों को तोहफे भी भेंट किए। इस अवसर पर मुख्यमंत्री के प्रमुख प्रिंसिपल सचिव सुरेश कुमार व मुख्य सचिव करण अवतार भी उपस्थित थे।