खबरें अभी तक। छत्तीसगढ़ के कानन पेंडारी जू में एक मादा डॉग (कुतिया) ने बाघिन के शावक को अपना दूध पिलाकर उसका पालन-पोषण किया। जन्म के चार दिन बाद तक न तो शावक दूध पी पा रहा था और न ही बाघिन इसमें सफल हो रही थी। इससे शावक में शारीरिक कमजोरी आने लगी। लिहाजा उसकी जान बचाने के लिए लेब्राडोर डॉग जिमी को किराए पर लिया गया।
जिमी ने बड़ी सहजता के साथ शावक को स्वीकार कर लिया और मां की तरह दूध पिलाकर उनकी जान बचा ली। अब बाघ का शावक खतरे से बाहर है और तीन माह का हो चुका है। इतना ही नहीं, अब तो यह मादा शावक रोजाना 2 किग्रा चिकन भी चट कर जाता है।
लेब्राडोर डॉग ने पिलाया अपना दूध
दरअसल कानन पेंडारी जू में तीन महीने पहले 6 नवंबर को दो शावकों का जन्म हुआ। यह व्हाइट टाइगर विजय व बंगाल टाइग्रेस की संतान है। शावकों के जन्म को जू प्रबंधन ने पूरी तरह गोपनीय रखा था, जिससे उनका पालन पोषण अच्छे तरीके से किया जा सके। जन्म के बाद एक मादा शावक मां का दूध नहीं पी पाई। इससे प्रबंधन परेशान हो गया। इसके चलते शावक का वजन दो से तीन दिन में 80 से 100 ग्राम कम हो गया। शावक को डिहाइड्रेशन होने लगा था। ऐसे में उसे मां चेरी से अलग कर दिया गया और अस्पताल में डॉक्टरों की निगरानी में लाकर रखा गया। फिर एक प्रयोग करने का प्लान बनाया गया। शहर के एक डॉग हैंडलर से संपर्क किया गया। उसने लेब्राडोर प्रजाति की डॉग जिमी को तीन महीने के लिए जू प्रबंधन को उपलब्ध कराया। डॉग की यह प्रजाति शांत रहती है।